पेपर लीकः कटारा व बेटे की सम्पत्तियां जब्त

राजस्थान पेपर लीक मामले (Paper Leak Case) में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) के पूर्व सदस्य बाबूलाल कटारा की कई संपत्तियों को जब्त कर लिया है। कटारा और उनके बेटे दीपेश कटारा की संपत्तियों को जब्त किया है।

पेपर लीकः कटारा व बेटे की सम्पत्तियां जब्त

राजस्थान पेपर लीक मामले (Paper Leak Case) में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) के पूर्व सदस्य बाबूलाल कटारा की कई संपत्तियों को जब्त कर लिया है। कटारा और उनके बेटे दीपेश कटारा की संपत्तियों को जब्त किया है। इन दोनों के पास करोड़ों की संपत्ति है।

आरपीएससी पेपर लीक केस को लेकर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने आज बुधवार (13 मार्च) को डूंगरपुर पहुंचकर कटारा और उसके बेटे की संपत्तियों को अटैच कर लिया। ईडी के 4 अधिकारी डूंगरपुर पहुंचे थे। उन्होंने लोकल पुलिस का सहयोग मांगा। इसके बाद मुख्य आरोपी बाबूलाल कटारा और उसके बेटे दीपेश कटारा की संपत्ति की सूची लेकर ठिकानों पर पहुंची।

ईडी ने अस्पता रोड के एक 1330 वर्ग फीट का वाणिज्यिक भूखंड पर संपति सीज का बोर्ड लगा दिया। इसके बाद टीम ने मालपुर में 3 बीघा 3 बिस्वा, 16 बिस्वा और 0.2 हेक्टेयर कृषि भूमि को सीज किया। भाटपूर में एक बीघा 12 बिस्वा कृषि भूमि समेत उनकी पांच प्रॉपर्टी को सीज करने की कार्रवाई की गई है, जिनकी बाजार कीमत करोड़ों में बताई जा रही है।

9 महीने पहले बाबूलाल कटारा को अजमेर से गिरफ्तार किया था। आरपीएससी पेपर लीक केस के खुलासे के बाद मुख्य आरोपी बाबूलाल कटारा, उसके भांजे विजय डामोर और ड्राइवर को अजमेर से गिरफ्तार किया गया। अब एसओजी और ईडी की टीम मामले में आगे की छानबीन कर रही है।

अक्टूबर 2020 में गहलोत सरकार ने बाबूलाल कटारा को राजस्थान लोकसेवा आयोग का सदस्य बनने की सिफारिश की थी राज्य सरकार की सिफारिश पर राज्यपाल ने कटारा को आरपीएससी के सदस्य के रूप में नियुक्ति प्रदान की इस नियुक्ति के पीछे गहलोत सरकार ने अनुसूचित जनजाति वर्ग को खुश करना था