संघ शिक्षा वर्ग के पाठ्यक्रम में बदलाव

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की नागपुर में आज से शुरू अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा में संघ शिक्षा वर्ग की रचना में नए पाठ्यक्रम जोड़ने का निर्णय लिया गया है।

संघ शिक्षा वर्ग के पाठ्यक्रम में बदलाव

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की नागपुर में आज से शुरू अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा में संघ शिक्षा वर्ग की रचना में नए पाठ्यक्रम जोड़ने का निर्णय लिया गया है। सभा के बारे में जानकारी देते हुए सह सरकार्यवाह डॉ. मनमोहन वैद्य जी ने मीडिया को बताया कि पहले संघ शिक्षा वर्ग की रचना में - 7 दिनों का प्राथमिक शिक्षा वर्ग, 20 दिनों का प्रथम वर्ष, 20 दिनों का द्वितीय वर्ष और 25 दिनों का तृतीय वर्ष होता था। अब न रचना में 3 दिनों का प्रारम्भिक वर्ग, 7 दिनों का प्राथमिक शिक्षा वर्ग तथा 15 दिनों का संघ शिक्षा वर्ग और कार्यकर्ता विकास वर्ग-1 20 दिन और कार्यकर्ता विकास वर्ग-2,  25 दिनों का होग। इन वर्गों में विशेष रूप से व्यावहारिक प्रशिक्षण का समावेश भी रहेगा।

डॉ. मनमोहन वैद्य ने संघ कार्य के विस्तार के बारे में बताया कि देश के 99 प्रतिशत जिलों में संघ का कार्य चल रहा हैकार्य की दृष्टि से संघ के 45 प्रान्त हैं, इसके बाद विभाग और फिर जिला, खंड ऐसी रचना है। ऐसे 922 जिलों में, 6597 खंडों (तहसील) में तथा 12-15 गावों के मंडल समूह हैं ऐसे 27720 मंडलों में संघ की कुल 73,117 दैनिक शाखाएं लगती हैं। गत वर्ष से 4466 शाखाएं बढ़ी हैं। इन शाखाओं में 60 प्रतिशत विद्यार्थी और 40 प्रतिशत नौकरी अथवा व्यवसाय करने वाले कार्यकर्ताओं का समावेश है। इसमें 40 वर्ष से अधिक आयु के प्रौढ़ों की संख्या 11 प्रतिशत है। साप्ताहिक मिलन की संख्या 27,717 है, जिसमें गत वर्ष से 840 साप्ताहिक मिलनों की वृद्धि हुई। संघ मंडली की संख्या 10,567 है। नगर और महानगरों के 10 हजार बस्तियों में 43 हजार प्रत्यक्ष शाखाएं लगती हैं।

उन्होंने बताया कि महिला समन्वय के कार्य में राष्ट्र सेविका समिति व विभिन्न संगठनों में सक्रिय महिला कार्यकर्ताओं के माध्यम से 44 प्रान्तों में 460 महिला सम्मेलन हुए, जिसमें 5 लाख 61 हजार महिलाएं सहभागी हुईं। डॉ. वैद्य ने कहा, आगामी लोकसभा चुनाव में शत प्रतिशत मतदान हो, इसके लिए संघ स्वयंसेवक घर-घर जाकर जन जागृति करेंगे

डॉ. वैद्य के अनुसार अयोध्या में रामलला प्राण-प्रतिष्ठा से संघ का व्यापक जनसंपर्क हुआ। अक्षत वितरण अभियान द्वारा 5,78,778 गावों और 4,727 नगरों के कुल 19 करोड़, 38 लाख, 49 हजार, 71 परिवारों से स्वयंसेवक सहित 44 लाख, 98 हजार 334 रामभक्तों ने संपर्क किया गयाउन्होंने बताया कि संघ की  rss.org  बेबसाइट पर प्रतिवर्ष आरएसएस में शामिल होने की वर्ष 2017 से 2023 तक एक लाख से अधिक रिक्वेस्ट निरंतर आैं। जनवरी और फ़रवरी 2024 में इन आंकड़ों में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा के बाद दोगुनी बढ़ोतरी हुई है।

अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा का शुभारम्भ आज सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत और सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले जी ने भारत माता के चित्र पर पुष्पार्चन करके किया। इस साल यह बैठक नागपुर के रेशिम बाग, स्मृति मन्दिर परिसर में 17 मार्च तक चलेगी। बैठक में सभी 45 प्रांतों से 1500 से अधिक कार्यकर्ता भाग ले रहे हैं।